प्रिय मित्रो एवम दोस्तों
आज कल की भाग दौड़ की जिंदगी और सोशल मीडिया लाइफ में हम इतना ब्यस्त है की कभी भी अपनी फॅमिली को समय नहीं दे पा रहे है.. ! हम इतना ब्यस्त हो गए है की घर में क्या चल रहा है आपको मालूम नहीं चलता...? लेकिन बहार वाले को सब मालूम चल जाता है.. जैसे आपको बाहेर वाले के बारे में मालूम होता है। क्यों की हम ब्यस्त है , बहुत ज्यादा ब्यस्त है इसलिए हमारे घर में क्या चल रहा है कोई खबर नहीं ? आजकल कितने बार समाचार के माध्यम से मालूम चलता है पति पत्नी का तलाक हो गया , किसी किसी का पति पत्नी को आपस में बनता नहीं है ? ऐसे में कई बार पिता पुत्र में संवाद नहीं , पर ऐसा क्यों होता है कभी सोचा है...? क्यों की आपसी संवाद ( बातचीत) की कमी होती है? पति को पत्नी से बात करने का टाइम नहीं है.., तो पत्नी को पति से बात करने का समय नहीं है? लेकिन सोशल मीडिया पर दोनों ब्यस्त है। कई बार तो देखा गया है ऑफिस का टेंशन घर पे लेकर आजाते है और घरवाले पर सारा गुस्सा निकाल देते है? इससे दांपत्य जीवन में काफी तनाव निर्माण हो जाता है..? कई बार देखा गया है एक पिता जैसे ही घर पे आता है और उनके बच्चे आकर लिपट जाते है.. तो बाप चिल्लाने लगता है, उस बच्चे को झकझोर देता है? लेकिन ये वही पिता जब दूसरे के बच्चे मिलते है तो बहुत लाड प्यार से उनको उठाते है यहाँ तक की कईबार चॉकलेट भी देते है... लेकिन खुद के बच्चे को कभी एक चॉकलेट नहीं देते है...? ऐसा आखिर क्यों... क्यों...?
एक कहावत है सांप दिन भर टेढ़ी चाल चलता है , लेकिन जब शाम को बिल में घुसता है तो सीधा घुसता है. और यहाँ उल्टा होता है इंसान दिन भर सीधी चाल चलता है लेकिन जब शाम को घर में घुसता है तो टेढ़ी चाल चलता है..!
आज यही कारणं है की लोगो को पारिवारिक सुख नहीं मिल पा रहा है..! लोगो को खुद की सोच बदलनी पड़ेंगी। तब जाकर एक सुखद दाम्पत्य जीवन जी सकते है। इसके लिए संवाद बहुत जरुरी है कईबार पति पत्नी में बातचीत बंद रहती है.. लेकिन सिर्फ पहल कौन करे इसमें देरी हो जाती है... पति सोचता है पहले पत्नी आगे आकर बोले.. और पत्नी सोचती है की पहले पति आकर बात करे....?
इसके लिए कुछ चीजे अवॉयड ( नज़रअंदाज करे) ..और कुछ ये तरीका आपनाये ....
१ संवाद कायम रखे , मुँह फुलाकर बैठे नहीं...
२ ऑफिस का काम ऑफिस में ही रखे...
३ ऑफिस से घर आने पर घर की ही बात, प्यार भरी बाते करे....
४ खासकर महिलाये रात्री भोजन के समय या विश्रांति के समय ऐसी कोई भी बात न करे की पति को टेंशन हो जाये और वो बेचारा रात को सही से सो न पाये। जो भी बाते हो ऐसी कोई बाते हो दिन में करे और मिल बाट कर हल निकले..
५ सोशल मीडिया से बचे... थोड़ा लिमिट में ही उसका उपयोग करे...
६ जब घर के सभी फॅमिली एक साथ हो तो कृपया कर के सोशल मीडिया ऑफ कर दे..बंद करदे .
७ कोई भी सन्देश देना हो परिवार को तो फ़ोन कर दे, न की सोशल मीडिया के माध्यम से सन्देश पहुचाये...
८ घर के बच्चे से नियमित संवाद करे बाते करे पूछे उनका स्कूल क्लासेस के बारे में कैसा चल रहा है..
९ ऑफिस से घर आते है तो खुद के बच्चे और फॅमिली के लिए कुछ स्वीट लेकर आये ताकि वो खुश हो जाये..
१० एक दूसरे की भावना को क़द्र करे... उनकी भी सुने... क्यों की बहुत सी महिलाये हाउस वाइफ होती है , हम काम कर के आते है घर लेकिन कभी उनकी हाल चाल नहीं पूछते... वो बेचारी किससे आपने दुःख शेयर करे...?
११ इसलिए मै वापिस बोल रहा हु संवाद बहुत जरुरी है इस जीवन में।
१२ फॅमिली मेंबर को भी थैंक्स बोले जैसे की आप बाहेर वाले को बोलते हो...
१३ जीवन में घर वाली /घर वाला ही आपको साथ देगा.... न की सोशल मीडिया।
१३ जीवन में घर वाली /घर वाला ही आपको साथ देगा.... न की सोशल मीडिया।
स्वस्थ रहे मस्त रहे